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प्रशंसा का एक भजन 
 १ यहोवा की स्तुति करो! 
परमेश्वर के पवित्रस्थान में उसकी स्तुति करो; 
उसकी सामर्थ्य से भरे हुए आकाशमण्डल में 
उसकी स्तुति करो! 
 २ उसके पराक्रम के कामों के कारण 
उसकी स्तुति करो*; 
उसकी अत्यन्त बड़ाई के अनुसार उसकी स्तुति करो! 
 ३ नरसिंगा फूँकते हुए उसकी स्तुति करो; 
सारंगी और वीणा बजाते हुए उसकी स्तुति करो! 
 ४ डफ बजाते और नाचते हुए उसकी स्तुति करो; 
तारवाले बाजे और बाँसुरी बजाते हुए 
उसकी स्तुति करो! 
 ५ ऊँचे शब्दवाली झाँझ बजाते हुए 
उसकी स्तुति करो; 
आनन्द के महाशब्दवाली झाँझ बजाते हुए 
उसकी स्तुति करो! 
 ६ जितने प्राणी हैं 
सब के सब यहोवा की स्तुति करें*! 
यहोवा की स्तुति करो!